Saturday, April 20, 2024
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Monthly Archives: August, 2022

राखी के धागों की अहमियत बरकरार, देश के साथ-साथ विदेशों में भी भाईयों के लिए बहनें डाकघरों से भेज रही राखियाँ

राखी का क्रेज देश से बाहर विदेशों में भी खूब है। पोस्टमास्टर जनरल श्री कृष्ण कुमार यादव ने कहा कि वाराणसी से विदेशों के लिए भी स्पीड पोस्ट और रजिस्टर्ड डाक द्वारा राखियाँ भेजी जा रही हैं। लगभग 800 राखियाँ वाराणसी के डाकघरों द्वारा विदेशों के लिए बुक की गईं।

अटलजी मंच पर आ गए और मैं बोलता ही रहा…

अटल जी के भाषण सुनकर डिबेट बोलना सीखी। उनकी नकल उतारकर कई भाषण प्रतियोगिता जीतीं। एक तरह से अटलजी अपन के गुरु थे , वैसे ही जैसे द्रोण, एकलव्य के थे।

खादी से खरी हुई आजादी का ओज

आजादी के दीवानों के लिए खादी महज एक वस्त्र नहीं था बल्कि वह उनके स्वाभिमान का प्रतीक भी था। जब हम हिन्दुस्तान कहते हैं तो खादी का खाका हमारे सामने खींच जाता है। इतिहास साक्षी है कि स्वदेशी, स्वराज, सत्याग्रह के साथ चरखे और खादी ने भारत की आजादी की लड़ाई में अहम भूमिका निभायी है।

स्वतंत्रता के अमृत महोत्सव के उपलक्ष तीन दिवसीय 13 अगस्त से 15 अगस्त तक व्याख्यानमाला

भारतीय विचार मंच के तत्वाधान में स्वतंत्रता के अमृत महोत्सव के उपलक्ष तीन दिवसीय 13 अगस्त से 15 अगस्त तक व्याख्यानमाला भारतीय इतिहास के विभिन्न काल खंड पर भायंदर(प) के रीना मेहता कॉलेज में आयोजित किया गया

सब अपने, हम सबके, भाईचारे की भावना के प्रतीक सेवाभावी राजाराम

सामाजिक, राष्ट्रीय मुद्दों और किसी भी समस्या के प्रति हमेशा आगे और मुखर रहते हैं। दहेज़ के खिलाफ आवाज़ उठाने के लिए बिना दहेज़ का अनोखा विवाह कर समाज में स्वयं उदहारण बने। कोटा की संस्कृति से इतने प्रभावित हैं कि खूबसूरती को प्रोत्साहित करने के लिए सामाजिक कार्डों में संस्कृति को स्थान देते हैं।

वर्ष 2047 में दुनिया के शिखर पर होगा भारत : श्री दुर्गाशंकर मिश्रा

मुख्य अतिथि प्रदेश के उप मुख्यमंत्री श्री बृजेश पाठक जी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में पूरा देश आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। इस बार स्वतंत्रता दिवस पर जिस प्रकार का भव्य उत्सव देखने को मिला, पहले ऐसा कभी नहीं हुआ। देश के कोने-कोने में हर घर पर लोगों ने तिरंगा लगाया और सभी स्वतंत्रता दिवस के उत्सव में डूबे नजर आए। लोगों में ऐसी देशभक्ति की भावना को जगाने में विद्या भारती जैसे संगठनों ने महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा कि विद्या भारती के लोगों ने अपने जीवन को युवा पीढ़ी को ऐसी शिक्षा दीक्षा देने में समर्पित किया है, जिससे भारत की भावी पीढ़ी के लिए राष्ट्रहित ही सर्वोपरि हो। साथ ही युवा पीढ़ी अपने देश के नायकों के बलिदान को लेकर गर्व महसूस करे और भारत को फिर से विश्व गुरु बनाने में अपना योगदान दे।

भारत के धार्मिक स्थल संस्कार और धर्म ही नहीं रोजगार भी देते हैं

पर्यटन उद्योग में कई प्रकार की आर्थिक गतिविधियों का समावेश रहता है। यथा, अतिथि सत्कार, परिवहन, यात्रा इंतजाम, होटल आदि। इस क्षेत्र में व्यापारियों, शिल्पकारों, दस्तकारों, संगीतकारों, कलाकारों, होटेल, वेटर, कूली, परिवहन एवं टूर आपरेटर आदि को भी रोजगार के अवसर प्राप्त होते हैं।

डाक विभाग ने ‘हर घर तिरंगा’ अभियान के प्रति जागरूकता के लिए निकाली प्रभात फेरी

डाक विभाग ने ठाना है-हर घर तिरंगा पहुँचाना है' और 'हर घर तिरंगा-हर मन तिरंगा' के उद्घोष के बीच डाक विभाग ने निकाली प्रभात फेरी

विभाजन जो टल सकता था..!

हमारे देश में जब १८५७ का स्वातंत्र्य युध्द समाप्त होने को था, उस समय अमरीका का दृश्य बड़ा भयानक था. १८६१ से १८६५ तक वहां गृहयुध्द चल रहा था. अमरीका के ३४ प्रान्तों में से दक्षिण के ११ प्रान्तों ने गुलामी प्रथा के समर्थन में, बाकी बचे (उत्तर के) प्रान्तों के ‘यूनियन’ के विरोध में युध्द छेड़ दिया था. उनका कहना था, ‘हम अपने विचारों के आधार पर देश चलाएंगे. इसलिए हमें अलग देश, अलग राष्ट्र चाहिए..!’

विरोधी दलों को रास नहीं आया हर घर तिरंगा अभियान

राहुल गांधी ने संघ को देशद्रोही कहकर आज उस हर नागरिक को देशद्रोही कह दिया है जो पूरे जोष, उत्साह व उमंग के साथ स्वयं आगे बढ़कर हर घर तिरंगा अभियान में भाग ले रहा है। जिस प्रकार देश में स्वच्छता अभियान, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ सहित तमाम अभियान जन अभियान बन गये अब उसी प्रकार हर घर तिरंगा भी फहराया जायेगा।
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