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स्वीप कार्यक्रम के तहत दिग्विजय कालेज में परिचर्चा और वाद विवाद का सफल आयोजन

राजनांदगांव। भारत निर्वाचन आयोग के अति महत्वपूर्ण कार्यक्रम सुव्यवस्थित मतदाता शिक्षा एवं निर्वाचक सहभागिता ( स्वीप ) के तहत शासकीय दिग्विजय स्वशासी स्नातकोत्तर महाविद्यालय में परिचर्चा और वाद विवाद प्रतियोगिता सफलतापूर्वक संपन्न हुई। दोनों प्रतियोगिताओं मिलाकर लगभग तीन दर्जन प्रविष्टियों ने मतदाता जागरूकता अभियान में युवाओं की वैचारिक सहभागिता का नया इतिहास रच दिखाया। परिचर्चा मतदाता पंजीकरण और वाद विवाद का विषय संसदीय लोकतंत्र पर एकाग्र था। दोनों विषयों में विद्यार्थियों की लगनशील भागीदारी देखते ही बन रही थी।

महाविद्यालय के स्मार्ट क्लास में बड़ी संख्या में उपस्थित प्रतिभागी तथा जिज्ञासु छात्र-छात्राओं के सम्मुख पहले परिचर्चा आयोजित की गई जिसका कुशल संयोजन करते हुए प्राध्यापक डॉ.चन्द्रकुमार जैन ने युवाओं को मतदाता पंजीकरण और मतदान प्रक्रिया में भागीदारी की अहम जिम्मेदारी की प्रभावी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि सशक्त लोकतंत्र के लिए मतदान के अधिकार की समझ और सम्मान अनिवार्य शर्त है। डॉ.जैन ने बताया कि मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी छत्तीसगढ़ एवं कलेक्टर राजनांदगांव के दिशा निर्देशों के अनुरूप प्राचार्य डॉ. आर.एन.सिंह के मार्गदर्शन में गठित प्राध्यापकों की टीमें ये प्रतियोगिताएँ आयोजित कर रही हैं। इसके विजेता अब जिला स्तरीय स्पर्धा में भागीदारी के हक़दार होंगे। वाद विवाद प्रतियोगिता का संयोजन करती हुईं प्रो चन्द्रज्योति श्रीवास्तव ने कहा कि संसदीय लोकतंत्र की सफलता में मतदाता के रुझान और मतदान प्रतिशत की बढ़ोतरी की भूमिका सबसे ऊपर होती है। इस कार्य में युवा वर्ग की जागरूकता व प्रतिभागिता सर्वोपरि है।

प्रतियोगिता के दौरान डॉ.शंकर मुनि राय, डॉ.बी.एन.जागृत, डॉ.अंजू झा, प्रो एस.जेनाIMG_2321मणि, डॉ.अनिता शंकर, प्रो सुरेश पटेल, दिव्या पवार,
आकाश त्रिपाठी, नंदकिशोर सिन्हा ने उपस्थित रहकर सक्रिय सहयोग प्रदान किया। अंत में डॉ.चन्द्रकुमार जैन ने परिणामों की घोषणा की। तदनुसार परिचर्चा में शिवांगी झा ने प्रथम रहीं। वाद विवाद प्रतियोगिता में मयंक जैन और शिवांगी झा ने क्रमशः पक्ष और विपक्ष में पहला स्थान अर्जित किया। प्रतिभागी विद्यार्थियों में ज्यादातर ने अपनी अभिव्यक्ति क्षमता और जानकारी की शानदार मिसाल पेश की जिसकी सराहना की गई। सबसे अधिक प्रेरक बात यह देखी गई कि युवा मतदाता के रूप में हमारी नई पीढ़ी वास्तव में अब देश के नव निर्माण के प्रति सजग और तत्पर भी है।
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