Thursday, March 28, 2024
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पश्चिम रेलवे क्षेत्रीय राजभाषा कार्यान्वयन समिति की बैठक में महाप्रबंधक द्वारा कम्प्यूटरों पर हिंदी में कार्य का आह्वान

मुंबई। पश्चिम रेलवे के महाप्रबंधक श्री आलोक कंसल की अध्यक्षता में पश्चिम रेलवे की क्षेत्रीय राजभाषा कार्यान्वयन समिति की बैठक पश्चिम रेलवे मुख्‍यालय में आयोजित की गई। महाप्रबंधक श्री कंसल ने समिति के सदस्यों को सम्बोधित करते हुए कहा कि हिंदी भाषा सिर्फ भारतीयों के भावों तथा विचारों की अभिव्‍यक्ति का साधन नहीं है, बल्कि इसके साथ भारत के सांस्‍कृतिक, धार्मिक एवं आध्‍यात्मिक मूल्‍य भी जुड़े हुए हैं। इस प्रकार राजभाषा हिंदी भारतीय समाज और देश को भी सुदृढ़ बनाने में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभा रही है। हिंदी का शब्‍दकोश बहुत व्‍यापक है और इसमें वैज्ञानिक, इंजीनियरिंग एवं तकनीकी संकल्‍पनाओं को भी अभिव्‍यक्‍त करने की पूर्ण क्षमता है। इसलिए ही इसे भारतीय संविधान में राजभाषा के रूप में मान्‍यता प्रदान की गई है। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारियों एवं कर्मचारियों द्वारा राजभाषा हिंदी के निरंतर प्रयोग और प्रचलन से ही इसकी श्रेष्‍ठता सिद्ध की जा सकती है। श्री कंसल ने कहा कि सूचना प्रौद्योगिकी ने एक नई क्रांति को जन्‍म दिया है और कम्‍प्‍यूटर इस क्रांति का सशक्‍त माध्‍यम है। बाज़ार में ऐसे बहुत सारे सॉफ्टवेयर उपलब्‍ध हैं, जिनके माध्‍यम से कम्‍प्‍यूटरों पर हिंदी में काम करना दिन-प्रतिदिन आसान होता जा रहा है। अत: उन्‍होंने पश्चिम रेलवे के सभी अधिकारियों और कर्मचारियों से आग्रह किया कि सूचना प्रौद्योगिकी का अधिक से अधिक लाभ उठाकर भारत को ‘डिजिटल भारत’ बनाने में अपना महत्‍वपूर्ण योगदान दें।

राजभाषा बैठक के प्रारम्‍भ में पश्चिम रेलवे के मुख्य राजभाषा अधिकारी ने समिति के अध्यक्ष एवं महाप्रबंधक, अपर महाप्रबंधक, गृह मंत्रालय के उप निदेशकों, पश्चिम रेलवे के सभी विभागाध्‍यक्षों, सभी मंडल रेल प्रबंधकों एवं अपर मंडल रेल प्रबंधकों, सभी प्रमुख कारखाना प्रबंधकों और अन्य वरिष्‍ठ रेल अधिकारियों का स्वागत करते हुए कहा कि राष्‍ट्रीयता, भारतीयता और एकता हिंदी का मूल आधार है। वर्तमान में हिंदी भारत सरकार और देश की आम जनता के बीच संवाद की भाषा बनकर एक सार्थक भूमिका निभा रही है। कार्यालयों के सभी कार्य मूल रूप से हिंदी में करने से राजभाषा हिंदी का प्रयोग बढ़ेगा और भारत सरकार की राजभाषा नीति का भी सही अर्थों में पालन हो सकेगा। इस बैठक में पश्चिम रेलवे के प्रधान कार्यालय, महाराष्ट्र और गुजरात में स्थित 6 मंडलों और 6 कारखानों में पिछली तीन तिमाहियों के दौरान राजभाषा कार्यान्वयन में हुई प्रगति की समीक्षा की गई।

राजभाषा कार्यान्वयन में हुई प्रगति सम्‍बंधी आँकड़े समिति के सदस्य सचिव डॉ. सुशील कुमार शर्मा द्वारा प्रस्तुत किये गये। बैठक में गृह मंत्रालय से उपनिदेशक श्रीमती सुष्मिता भट्टाचार्य एवं डॉ. विश्‍वनाथ झा और पश्चिम रेलवे के विभिन्न प्रमुख विभागाध्यक्ष भी उपस्थित थे। अंत में पश्चिम रेलवे के वरिष्ठ राजभाषा अधिकारी श्री अशोक कुमार के धन्यवाद ज्ञापन के साथ बैठक सम्‍पन्‍न हुई।

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