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फेसबुक पर अशफाक के प्यार में शिखा ने अपने पाँच साल के बेटे का करा दिया अपहरण

फेसबुक से होने वाला प्यार कितना खतरानाक और रिश्तों को तार-तार करने वाला हो सकता है यह मुरादाबाद में हुए एक खुलासे से समझा जा सकता है। जिसमें एक सामान्य गृहणी फेसबुक के दो साल पुराने प्यार के लिए नौ साल पुराना वैवाहिक रिश्ता तोड़ने को तैयार हो गई। इतना नहीं उसने पांच साल के मासूम बेटे की जिंदगी भी दांव पर लगा दी। मुरादाबाद के एसएसपी ने बताया कि कुछ दिन पहले पांच साल के ध्रुव का अपहरण उसकी मां शिखा ने अपने प्रेमी के साथ मिलकर करवाया था। दोनों की योजना फिरौती के तीस लाख रूपए लेकर भाग जाने की थी। आरोपी मां, उसके प्रेमी और कार चालक को गिरफ्तार कर लिया गया है।

एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने बताया कि आरोपी शिखा की शादी 2011 साल पहले गौरव से हुई थी। दोनों के एक बेटी सादगी (8) और बेटा धु्व (5) हैं। शादी के बाद दोनों का जीवन सामान्य तरीके से चल रहा था। लेकिन अति महत्वाकांक्षी शिखा अपने इस जीवन से संतुष्ट नहीं थी। इसलिए दो साल पहले जब तेलंगाना के निजामाबाद का अशफाक फेसबुक पर उसके संपर्क में आया तो शिखा ने सपने बुनने शुरू कर दिए। फेसबुक पर फ्रेंडशिप के बाद दोनों के बीच चैटिंग भी शुरू हो गई। इसी दौरान आरोपी अशफाक ने शिखा से उसका मोबाइल नंबर ले लिया। बाद में दोनों फोन पर बातचीत करने लगे। धीरे-धीरे दोनों का प्यार परवान चढ़ने लगा। आरोपी शिखा ने पुलिस को बताया कि पहली बार वह मेरठ में अशफाक से मिली थी। वहां वह अशफाक के साथ कई घंटे तक एक होटल में रुकी थी। वह उसके साथ रामनगर भी घूमने गई थी और एक साथ उसके साथ होटल में रुकी थी।

मासूम ध्रुव की मां शिखा पर अशफाक के इश्क का नशा इस कदर सवार था कि वह उसके लिए कुछ भी करने को तैयार थी। वह अशफक को पाने के लिए धर्म बदलने को भी राजी थी। उसने रोजे रखकर इसका सुबूत भी अपने प्रेमी को दे दिया था। इस अप्रत्याशित बदलाव पर पति ने समझाने का प्रयास किया तो उसने कत्ल की धमकी भी दे डाला।

पुलिस की जांच में खुलासा हुआ है 2018 में अशफाक ने हिंदू लड़की स्वीटी नाम से फेसबुक पर आईडी बनाई थी। इसी नाम से उसने शिखा से दोस्ती की थी। करीब चार माह तक दोनों के बीच बात होती रही। इस दौरान दोनों के रिश्ते इतने मजबूत हो गए कि जब एक दिन अशफाक ने अपने लड़की न होने का राज खोला तो शिखा को कोई हैरत नहीं हुई। अशफाक के दूसरे धर्म से होने का भी शिखा को कोई ऐतराज नहीं हुआ। अशफाक का झूठ यहीं खत्म नहीं हुआ था। उसने पहले खुद को इंजीनियर बताया था लेकिन बाद में बताया कि वह तेलंगाना स्थित निजामाबाद में शोभा इलेक्ट्रानिक्स में कर्मचारी है। इन झूठों को भी शिखा दरकिनार करती रही और उनका प्रेम परवान चढ़ता रहा। जब अशफाक ने उस पर धर्म परिवर्तन का दबाव बनाया तो इसे भी शिखा ने आसानी से मान लिया। उसका भरोसा जीतने के लिए ही 2019 से ही उसने अपना नाम सोना रख लिया और रोजे रखने लगी। उधर, शिखा भी अशफाक को प्रेम में बाबू कहने लगी थी। शिखा के रोजे रखने पर ससुराल वालों के अलावा चंदौसी में रहने वाले उसके भाई और माता-पिता ने भी विरोध किया लेकिन किसी को इस बात की भनक नहीं लगी कि शिखा कोई और ही गुल खिला रही है।

मुरादाबाद। पुलिस पूछताछ में अशफाक ने पुलिस को बताया कि बीते दो सालों में वह 22 बार मुरादाबाद आया। यहां उसके होटल में रुकने से लेकर वापस तेलंगाना लौटने तक का पूरा खर्चा शिखा ही उठाती थी। उसके शहर पहुंचने से पहले ही होटल में शिखा कमरा बुक करा देती थी। रामनगर और नैनीताल के होटलों में भी शिखा और अशफाक साथ रुक चुके हैं।

साभार- https://www.livehindustan.com/ से