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‘वन क्लास-वन टीवी चैनल’ योजना के तहत अब खोले जाएंगे 200 चैनल

मोदी सरकार के कार्यकाल का मंगलवार को 10वां बजट (Budget 2022-23) पेश किया गया। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के कार्यकाल का यह चौथा बजट था। अपने भाषण में सीताराम ने कहा कि अधिकांश कोरोना प्रभावित बच्चे सरकारी स्कूलों से हैं और केंद्र को लगता है कि पूरक शिक्षण प्रदान करने और शिक्षा वितरण के लिए एक लचीला तंत्र बनाने की जरूरत है। कोविड के कारण शिक्षा को जो नुकसान हुआ उसकी भरपाई के लिए ‘वन क्लास-वन टीवी चैनल’ योजना शुरू किया जा रहा है। ऑनलाइन पढ़ाई को बढ़ावा देने के लिए 200 ई-विद्या चैनल खोले जाएंगे, जिसमें पहली से 12वीं कक्षा तक के विद्यार्थियों के लिए गुणवत्ता पूर्व शिक्षा की व्यवस्था की जाएगी, ताकि विद्यार्थी आसानी से पढ़ाई कर सकें।

उन्होंने कहा कि ऑनलाइन एजुकेशन को बढ़ाने के साथ ही रीजनल लैंग्वेpoज में पढ़ाई को भी बढ़ावा दिया जाएगा। ‘वन क्लास-वन टीवी चैनल’ योजना के तहत यह प्रोग्राम चलाया जाएगा।

अपने बजट भाषण के दौरान, वित्त मंत्री ने उल्लेख किया कि विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में और अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति व अन्य कमजोर क्षेत्रों के बच्चों ने महामारी से प्रेरित स्कूल बंद होने के परिणामस्वरूप लगभग दो साल की औपचारिक शिक्षा खो दी है और प्रभावित बच्चों में से अधिकांश सरकारी स्कूलों से थे। हम पूरक शिक्षा की आवश्यकता और एक लचीली शिक्षा वितरण प्रणाली के विकास को समझते हैं। इस उद्देश्य से पीएम ई विद्या के ‘वन क्लास, वन टीवी चैनल’ कार्यक्रम के तहत 12 से 200 टीवी चैनलों को शुरू कर रीजनल भाषाओं में शिक्षा दी जाएगी। इसके माध्यम से कक्षा 1 से 12 तक के स्टूडेंट्स रीजनल भाषा में सप्लीमेंट्री शिक्षा हासिल कर सकेंगे।

बजट में विज्ञान-गणित की 750 वर्चुअल क्लास शुरू करने का निर्णय लिया गया है। वित्‍त मंत्री ने कहा कि व्‍यवसायी पाठ्यक्रम के तहत अत्‍यंत महत्‍वपूर्ण चिंतन कौशल को बढ़ावा देने और रचनात्‍मकता को स्‍थान देने के लिए, वर्ष 2022-23 में विज्ञान और गणित में 750 वर्चुअल प्रयोगशालाओं और समकालिक शिक्षण परिवेश के लिए 75 स्किलिंग ई-लैब्‍स की स्‍थापना की जाएगी। इंटरनेट, मोबाइल फोन, टीवी और रेडियो पर डिजिटल शिक्षकों के माध्‍यम से वहां की बोली जाने वाली भाषा में उच्‍च गुणवत्‍ताप्रद ई-कंटेंट तैयार कर उस तक पहुंच सुनिश्चित की जाएगी।

अध्‍यापकों को गुणवत्‍ताप्रद ई-कंटेट तैयार करने में शिक्षण के डिजिटल उपकरणों से सशक्‍त बनाने और सुसज्जित करने तथा बेहतर शिक्षण परिणाम प्राप्‍त करने के लिए एक प्रतिस्‍पर्धापरक तंत्र की स्‍थापना की जाएगी।

इसके साथ ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने देश में शिक्षा प्रदान करने के लिए एक डिजिटल यूनिवर्सिटी के गठन का प्रस्ताव रखा और कहा कि इसका निर्माण हब एवं स्पोक मॉडल के आधार पर किया जाएगा।