Thursday, March 28, 2024
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Homeकविताअब तो आजा पिया

अब तो आजा पिया

ये धड़के मेरा, यह नाजुक जिया
आया सावन यह आया ,आया मस्ती भरा ।
ओ रे पिया ,आजा रे पिया , अब तो आ जा ,
आया सावन यह आया अाया मस्ती भरा
बादल सलोने से छाने लगे हैं ,
छम छम के बूँदे ,बरसनें लगे हैं ,
नगाड़े ये बिजली के ,दमकनेंलगे हैं
उपवन भी फिर से महकने लगे हैं

ओ रे पिया ..आ जा रे पिया …
नदियाँ भी बलखाए,पूर्वा भी बौराए
कलियाँ भी इठलाए ,पंछी भी है गाए
बनके दुल्हन ,धरा भी शर्माऐ हैं
ओ रे पिया …आजा रे पिया
हाथों में कंगना है ,बालों में गजरा है
माथे पे बिंदिया है ,राहों में तेरे ये अखियाँ है ,
ओठो में समाया ,तेरा ही अफसाना है
ओ रे पिया …आ जा रे पिया …
दिल में जो अरमां हैं ,तुझ पे ही मचलना है ,
पलकों में बसाया ,तेरा ही सपना है ।
रह न जाए अधूरा ,मन मेरा,
प्रेम पावस में है भीगा।
ओ रे पिया …. आ जा रे पिया ..
आया सावन …….मस्ती भरा ।

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