पड़ोसी देशों के अल्पसंख्यकों को राहत प्रदान करने के अपने वादे को पूरा करते हुए मोदी सरकार उन्हें दीर्घकालिक वीजा (LTV) या नागरिकता देने के लिए विशेष शिविर लगा रही है। पाकिस्तान और अफगानिस्तान के हिंदू और सिख शरणार्थियों के लाभ के लिए महाराष्ट्र, गुजरात, मध्यप्रदेश, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़ और दिल्ली में विशेष शिविर लगाए जा रहे हैं।
पीटीआई ने गृह मंत्रालय के एक अधिकारी के हवाले से खबर दी है कि पहले दो शिविर ठाणे और मुम्बई में लगाए गए थे और ऐसे ही शिविर 27 जुलाई तक अन्य स्थानों पर भी लगाए जाएंगे। अल्पसंख्यक हिंदुओं को नागरिकता का अधिकार प्रदान करने का कदम यहूदियों के लिए इस्राइल के रुख की भांति ही भारत को दुनिया में कहीं से भी उत्पीड़न के चलते घर-बार छोड़कर भागने वाले हिंदुओं की शरणस्थली के रूप में पेश करने के भाजपा के घोषित लक्ष्य के अनुरूप है।
वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव से पहले अपने चुनावी घोषणापत्र में BJP ने भारत को उत्पीड़न के शिकार हिंदुओ के लिए प्राकृतिक आवास के रूप में घोषणा की थी जिनका यहां शरण लेने के लिए स्वागत होगा। अधिकारी ने कहा कि ये विशेष शिविर दीर्घकालिक वीजा और नागरिकता संबंधी आवेदनों का यथाशीघ्र परीक्षण कर उनका निस्तारण करेंगे।