छत्तीसगढ़ में एक स्कूल ऐसा है जो फीस के बदले वहां पढ़ने आ रहे बच्चों के माता-पिता से एक वादा करवाता है। वह वादा यह होता है कि बच्चों के माता-पिता को फीस देने की जरूरत नहीं है बल्कि उसके बदले उन लोगों को एक पेड़ लगाना होगा। इसके साथ-साथ उन लोगों को उसकी देखभाल भी करनी होगी। यह काम ‘शिक्षा कुटीर’ नाम के एक स्कूल ने शुरू किया है। स्कूल का मकसद है कि लोगों को पर्यावरण के लिए पेड़ों का महत्व समझाया जाए। शिक्षा कुटीर में वहां के गरीब लोगों को पढ़ाया जाता है जिनके माता-पिता फीस देने में असमर्थ हैं। वहां पर बस प्राइमरी एजुकेशन होती है। यह स्कूल छत्तीसगढ़ के बारगी गांव में है।
गांव में रहने वाले सेवक दास नाम के एक शख्स ने समाचार एजेंसी एनआई को बताया कि ‘स्कूल में इंग्लिश मीडियम में पढ़ाई होती है। गांव के लोग इंग्लिश सीखने के लिए बच्चों को वहां भेज देते हैं।’
स्कूल में लगभग 35 बच्चे पढ़ रहे हैं। बताया गया कि अगर जिस पेड़ को माता-पिता ने लगाया है वह किसी वजह से मर जाता है तो उन लोगों को फिर से एक पेड़ लगाना होगा और उसकी देखभाल करनी होगी। स्कूल को कुछ लोकल प्रोफेशनल और बिजनेसमैन सपोर्ट कर रहे हैं। पेरेंट्स जिनके पास पैसों की कमी होती है वह इस स्कूल का सहारा ले रहे हैं और खुश हैं।