कोटा। करीब 20 दिन पहले अतिवृष्टि के कारण जब किशनगंज निवासी महावीर बैरवा का कच्चा घर धंसा तो की हिम्मत ही जवाब दे गई। सरकारी स्कूल में आश्रय लिए हुए महावीर की उदासी देख लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने उसे आश्वस्त किया था कि घर को दुबारा तैयार करने में वे उसकी सहायता करेंगे। इसके महज 15 दिन बाद जब बिरला सोमवार को महावीर के घर पहुंचे तो उसके चेहरे की खुशी देखते ही बन रही थी। वह घर की ओर इशारा कर बार-बार बिरला को धन्यवाद दे रहा था। कुछ ऐसी ही खुशी छोटी बाई और हनुमान के घर पर भी दिखाई दी। इनके भी कच्चे मकान भारी बारिश के दौरान धंस गए थे। लेकिन वे भी अब लोकसभा अध्यक्ष बिरला की ओर से मिले सहयोग के बाद आश्रय स्थल से अपने घर में चले गए हैं। यह तीनों उन पांच हजार परिवारों में शामिल हैं जिनके आशियाने फिर से तैयार करने में सहयोग की पहल लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने की।
अगस्त के पहले सप्ताह के दौरान पूरे कोटा संभाग को अतिवृष्टि का सामना करना पड़ा था। इस दौरान लगातार हुई बारिश से कोटा-बूंदी संसदीय क्षेत्र में ही पांच हजार से अधिक कच्चे मकान ढह गए। आमजन को हुए भारी नुकसान की जानकारी मिलने पर लोकसभा की कार्यवाही में अंतराल आते ही कोटा आए और पहले हवाई और फिर मौके पर जाकर सम्पूर्ण क्षेत्र में हुए नुकसान का जायजा लिया था।
निरीक्षण के बाद आमजन को हो रही पीड़ा की वेदना लोकसभा अध्यक्ष बिरला के चेहरे पर भी दिखाई दी। पीड़ित लोगों को ढांढस बंधाते हुए लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने कहा था कि तबाही का ऐसा मंजर पहले नहीं देखा। साथ ही उन्होंने आश्वस्त किया था कि उनके टूट आशियाने तैयार करने में वे पूरा सहयोग देंगे।
लोगों को दिए गए इस वचन को पूरा करने के प्रति उन्होंने पूरी संवेदनशीलता दिखाई और दिल्ली पहुंचते ही जनसहयोग से पांच हजार घरों के लिए टीन की व्यवस्था की। यह टीन प्रभावित लोगों तक पहुंचाए गए और उन्होंने एक बार फिर अपने आशियाने तैयार करने शुरू कर दिए। संसदीय क्षेत्र के प्रवास पर आए लोकसभा अध्यक्ष बिरला सोमवार को एक बार फिर प्रभावितों के घर पहुंचे और उनके घर के निर्माण कार्यों को भी देखा। बिरला ने उन्हें आश्वस्त किया कि वे हर समय उनकी मदद के लिए तैयार खड़े हैं। संसदीय क्षेत्र के लोग उनका परिवार हैं। परिवार का एक भी सदस्य परेशानी में हो तो वह संतोष से नहीं रह सकते। अतिवृष्टि से प्रभावित प्रत्येक व्यक्ति तक राहत पहुंचे यह वह सुनिश्चित करेंगे।
लोकसभा अध्यक्ष ने अतिवृष्टि प्रभावित पांच हजार परिवारों के घर की छत के लिए जनसहयोग से टीनशेड की व्यवस्था की है। प्रत्येक परिवार को जरूरत के अनुसार 4 गुणा 16 वर्ग फीट की आकार के तीन से पांच टीन शेड उपलब्ध करवाए जाएंगे। इससे वे 12 गुणा 16 से लेकर 20 गुणा 16 तक के आकार के अपने घर तैयार कर पाएंगे।
पहले अतिवृष्टि से घर टूटा बाद में दुर्घटना में हाथ भी टूट गया, अब न घर है और न ही रोजगार। मजदूरी कर परिवार चलाने वाले किशनगंज निवासी बनवारी की कहानी सुन लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने उसे आश्वस्त किया उसके उपचार की समुचित व्यवस्था की जाएगी। जब तक वह फिर से रोजगार करने की स्थिति में नहीं आ जाता उसके परिवार के लिए राशन भी उपलब्ध करवाया जाएगा।
पहले अतिवृष्टि से घर टूटा बाद में दुर्घटना में हाथ भी टूट गया, अब न घर है और न ही रोजगार। मजदूरी कर परिवार चलाने वाले किशनगंज निवासी बनवारी की कहानी सुन लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने उसे आश्वस्त किया उसके उपचार की समुचित व्यवस्था की जाएगी। जब तक वह फिर से रोजगार करने की स्थिति में नहीं आ जाता उसके परिवार के लिए राशन भी उपलब्ध करवाया जाएगा।
———