मुंबई के जियो वर्ल्ड कन्वेंशन सेंटर में 13 से 15 दिसंबर तक वर्ल्ड हिंदू इकॉनमिक फ़ोरम (WHEF) 2024 का आयोजन होगा। इस बहुचर्चित 3-दिवसीय कार्यक्रम को लेकर मुंबई के व्यापारी जगत में काफी उत्साह है, क्योंकि यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ, गुजरात के सीएम भूपेंद्र पटेल, केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल और कई प्रमुख उद्योग जगत के नेता, उद्यमी और व्यापार विचारक इसे संबोधित करेंगे।
इस आयोजन में ‘थिंक इन फ्यूचर फॉर दी फ्यूचर’ थीम के अंतर्गत इस आयोजन में विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की जाएगी।
WHEF के संस्थापक स्वामी विज्ञानानंद ने कहा, “भगवद गीता से प्रेरित थीम “भविष्य में सोचें, भविष्य के लिए” के साथ WHEF 2024 का उद्देश्य भविष्यवादी सोच और दीर्घकालिक आर्थिक रणनीतियों को बढ़ावा देना है जो ‘विकसित भारत 2047’ के लक्ष्य के साथ संरेखित हैं। इस वर्ष के केंद्रीय बजट में उल्लिखित प्राथमिकताएं WHEF के लक्ष्यों के अनुरूप हैं, और सम्मेलन आर्थिक विकास और नवाचार को बढ़ावा देने में योगदान देगा।”
तीन दिवसीय कार्यक्रम के मुख्य वक्ताओं में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल, एनएसई के सीईओ आशीष कुमार चौहान, जियो फाइनेंशियल सर्विसेज के चेयरमैन केवी कामथ और हीरानंदानी ग्रुप के एमडी निरंजन हीरानंदानी शामिल होंगे।
भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान खड़गपुर के पूर्व छात्र स्वामी विज्ञानानंद द्वारा स्थापित डब्ल्यूएचईएफ का उद्देश्य स्थायी आर्थिक मॉडल को बढ़ावा देने, व्यापारिक क्षेत्र में आपसी सहयोग बनाने, समाज को समृद्ध बनाने और विश्व स्तर पर पहुंचाने का है। इस वर्ष के फोरम में 24 से अधिक सत्र और 100 से अधिक वक्ता सम्मिलित होंगे। यह फोरम प्रभावशाली नेताओं, उद्यमियों और व्यापारिक क्षेत्र के दूरदर्शी लोगों सहित 1,000 से अधिक वैश्विक प्रतिनिधियों को एक साथ लाएगा।
डब्ल्यूएचईएफ का मंच वित्त, प्रौद्योगिकी, विनिर्माण और प्रसाशनिक जैसे क्षेत्र के प्रमुख वक्ताओं के माध्यम से महत्वपूर्ण जानकारी साझा करने का अनूठा प्लेटफार्म है। यह उन उद्यमों के क्षेत्र में सहयोग को बढ़ावा देता है, जो नैतिक आधार पर समुदाय-संचालित मूल्यों में निहित रहते हुए समृद्धि लाते हैं।
स्वामी विज्ञानानंद ने मुंबई में आईएमसी में आयोजित प्रेस वार्ता में बताया कि हम विभिन्न क्षेत्रों के प्रभावशाली व्यक्तित्वों के साथ जुड़कर इस बात पर चर्चा करने के लिए उत्साहित हैं कि सभी को लाभान्वित करने वाले टिकाऊ आर्थिक विकास को कैसे आकार दिया जा सकता है।
2012 में स्थापना के बाद से डब्ल्यूएचईएफ ने हांगकांग, बैंकॉक, नई दिल्ली, लंदन, लॉस एंजिल्स, शिकागो और मुंबई में सफल वार्षिक मंचों के साथ-साथ कुआलालंपुर, ऑकलैंड, फिजी, डरबन और फ्रैंकफर्ट जैसे शहरों में क्षेत्रीय मंचों का आयोजन किया है।
आयोजन समिति एवं डब्ल्यूएचईएफ 2024 के अध्यक्ष राजेश शर्मा ने कहा कि डब्ल्यूएचईएफ सम्मेलन दुनिया भर में आयोजित किए गए हैं और कोविड के बाद हम एक बार फिर भारत लौट आए हैं जो तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के मार्ग पर अग्रसर है।
आर्थिक क्षेत्र में विश्व स्तर पर एक सार्थक प्लेयर के रूप में स्थापित होने जा रहा है। मुंबई भारत का विकास इंजिन है और मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के पास प्रगति, मजबूत शासन और आर्थिक विकास को बढ़ावा देने का एक प्रमाणिक ट्रैक रिकॉर्ड है।
वर्ल्ड हिंदू इकॉनामिक फोरम द्वारा हांगकांग 2012, बैंकॉक 2013, नई दिल्ली 2014, लंदन 2015, लॉस एंजेलिस 2016, शिकागो 2018, मुंबई 2019 और बैंकॉक 2023 में सफल आयोजन के बाद अब 2024 में विकसित भारत के विभिन्न पहलुओं पर पूर्ण सत्र होंगे तथा समानांतर सत्रों में नई अर्थव्यवस्था के प्रमुख क्षेत्रों जैसे उद्योग 4.0 नवीकरणीय ऊर्जा, AI-संचालित भारत, एग्रीटेक, कौशल विकास, ई-कॉमर्स, पूंजी बाजार, इलेक्ट्रिक मोबिलिटी, फार्मा, सेमीकंडक्टर विनिर्माण, रक्षा और एयरोस्पेस, पर्यटन और आतिथ्य, और क्षेत्रीय आर्थिक विस्तार पर चर्चा होगी।
यह कार्यक्रम दुनिया भर से लगभग 1000 प्रतिनिधियों को एक साथ लाएगा, जिन्हें सरकार और उद्योग जगत के अग्रणी और नीति निर्माताओं द्वारा सम्बोधित किया जाएगा, एवं उन्हें पर्याप्त नेटवर्किंग के अवसर भी प्रदान करेगा। “मुख्यमंत्रियों और केंद्रीय मंत्रियों के अलावा, उल्लेखनीय वक्ताओं में NSE के CEO आशीष कुमार चौहान, जियो फाइनेंशियल सर्विसेज के चेयरमैन केवी कामथ, भारत फोर्ज के वाइस चेयरमैन अमित कल्याणी, L&T सेमीकंडक्टर टेक्नोलॉजीज के प्रमुख एसएम सुंदरेसन, इंडियन डेयरी एसोसिएशन के अध्यक्ष आरएस सोढ़ी, हीरानंदानी ग्रुप के MD निरंजन हीरानंदानी, HDFC AMC के MD नवनीत मुनोत और व्यापार और वित्त की दुनिया के कई अन्य अग्रणी शामिल होंगे” WHEF 2024 की आयोजन समिति के सचिव श्री रविकांत मिश्रा ने कहा।
एक दशक से अधिक समय से वर्ल्ड हिंदू इकॉनमिक फ़ोरम (WHEF) ने ‘अधिशेष धन का सृजन और उसे साझा करना’ के अपने मिशन के साथ धन सृजकों को समर्थन और मान्यता देने के लिए काम किया है। ज्ञान और संसाधनों को साझा करने और उभरते उद्यमियों को सलाह देने के लिए WHEF आर्थिक रूप से सफल व्यक्तियों और गुटों को एक साथ लाता है।
WHEF 2024 के आयोजन समिति के संयुक्त सचिव शैलेश त्रिवेदी ने कहा, “उद्यमिता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से WHEF 2024 में WHEF लॉन्चपैड की शुरुआत होगी, जो स्टार्टअप्स को वैश्विक दर्शकों के सामने अपने नवाचारों को प्रदर्शित करने, निवेशकों को आकर्षित करने और अपनी बाजार पहुंच का विस्तार करने के लिए एक मंच प्रदान करेगा।”
अपने वार्षिक मंचों और हिंदू इकॉनमिक फोरम (HEF) द्वारा संचालित 100 से अधिक अध्यायों के माध्यम से, WHEF उद्यमिता और आर्थिक विकास में गतिवृद्धि के लिए कनेक्टिविटी, बाजार पहुंच, साझेदारी, किफायती पूंजी और मानव संसाधनों को बढ़ावा देता है। WHEF का मानना है कि भारत को 10 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने और 2047 तक विकसित भारत के सपने को साकार करने के लिए, हमारे आर्थिक इंजन के सभी प्रमुख घटकों- सरकार, व्यवसाय, नियामक, उद्यमी, निवेशक, शिक्षाविद, समाज- को एक समान दृष्टि और आकांक्षा के साथ एकजुट होना पड़ेगा।
विश्व हिंदू आर्थिक मंच (WHEF) की स्थापना हिंदू समाज के आर्थिक रूप से सफल तत्वों को एक साथ लाने के लिए की गई थी, ताकि प्रत्येक समूह अपने व्यापारिक ज्ञान, विशेषज्ञता और संसाधनों को अपने साथी भाइयों के साथ साझा कर सके, जिससे अधिशेष धन का सृजन हो सके और समाज समृद्ध हो सके। 21वीं सदी में भारत विश्व सकल घरेलू उत्पाद में बहुत बड़ा योगदान देगा, क्योंकि यह अगले कुछ वर्षों में तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है। तेजी से बढ़ती आर्थिक गतिविधि समृद्धि में तब्दील हो जाएगी, जिससे हिंदुओं को बहुत जरूरी दृश्यता, स्वीकार्यता और सम्मान मिलेगा।
WHEF का दृष्टिकोण भगवद् गीता के आधारभूत ज्ञान पर आधारित है: “भविष्य के बारे में सोचो, भविष्य के लिए”। यह “वह, जो टिका हुआ है” बनाने की दिशा में उठाया गया कदम है। इसका अंतिम लक्ष्य अतिरिक्त धन पैदा करना और समाज को समृद्ध बनाना है।