हिम्मत की एक कहानी जिसने कई धारणाओं को तोड़ दिया और एक मर्तबा फिर ये सोचने पर मजबूर कर दिया कि अगर इंसान चाहे तो भला क्या नहीं हो सकता।
सीए फाइनल की परीक्षा में टॉप करने वाली शैली चौधरी को 12वीं में कम परसेंटेज होने के कारण डीयू के किसी कॉलेज में एडमिशन नहीं मिला था।
लेकिन शैली ने हिम्मत नहीं हारी और ऐसे कारनामे को अंजाम दिया जिसकी उम्मीद किसी को नहीं थी। सीएम में उन्होंने 75.75 परसेंट स्कोर किया है।
दिल्ली के शहादरा के सरकारी स्कूल से 12वीं की परीक्षा 67 प्रतिशत अंकों के साथ पास करने वाली शैली को डीयू में एडमिशन नहीं मिला तो उन्होंने डीयू के ओपन स्कूलिंग से ग्रेजुएशन किया। बीकॉम में भी उन्हें 54 प्रतिशत अंक मिले।
उन्होंने सीए करने की ठानी हुई थी और आज वे अपने इस लक्ष्य में कामयाब हुई हैं। उनका कहना है कि अगर इरादे मजबूत हों तो हर लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।
साभार- दैनिक हिन्दुस्तान से