Friday, April 26, 2024
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शीना बोरा के कुत्ते शेरी ने यूँ खोला हत्या का राज़

शीना का कुत्ता शैरी बहुत उदास था।

वो रात भर सो नहीं पाया। ये सोचकर नहीं कि शीना का क़त्ल हुआ है, बल्कि ये सोचकर कि 15 घंटे होने वाले हैं। कोई उससे बात करने क्यों नहीं आया। बताइए ये भी कोई बात है कि ज़िंदगी भर चाटते रहे हम और मलाई खाने की बारी आए तो कहीं कोई उजला बाल वाला सेठ-साहूकार बैठा है, कहीं कोई किताबी चाल वाला डे-नाइट बैठा है तो कहीं मेक अप की जाल वाली रीना-लवीना। शैरी सोचने लगा कि ये तो बड़ा घर आते थे। झूम झूम कर बोतल घुमाते थे। मुआह मुआह करके दोस्ती की क़सम खाते थे। पुच पुच करके विदा होते थे। बताइए ऐसे आस्तीन के सॉंपों को टीवी वाले ले गए और मेरे जैसे वफ़ादार अभी भी सूंघ कर काम चला रहें हैं। मेरे जैसे टीवी पर आएँगे, तब तो देश जान पाएगा कि घटना की रात मैंने कैसा महसूस किया था? तब तो सब जान पाएँगे कि पहली-पहली बार पीटर को जब पता चला तो उनको कैसा लगा? और देश को ये भी पता चल जाएगा कि अब मेरा अगला क़दम क्या होने वाला है। ये फूटी क़िस्मत है इस महान लोकतंत्र की, कि 15 घंटे हो गए हैं और अब तक ना किसी ने मुझसे संपर्क किया और ना इतने गूढ़, गहरे और गंभीर सवाल किए। काश ये सवाल हुए होते और जो जवाब मैं देता, उसके बाद तो केबीसी में अपनी वाइल्ड कार्ड एंट्री। मेरे बहाने बच्चन साहब भी पीटर से अपना पुराना एहसान चुका लेते। पर मेरी फ़िक्र ना बच्चन को है और ना गेट पर खड़े बनारस के बब्बन को है। इस जीवन का दुख यही है कि जो दरबान, मेरे बिना गेट पर सो नहीं पाता था, वो खुद को टीवी पर जाने वालों से बड़ा वीआईपी समझने लग गया। इतना इंसल्ट कभी नहीं हुआ कि एक कुत्ते की हालत , कुत्ते की मौत से भी बदतर हो गई हो।

अवस्था : दो

शीना का कुत्ता शैरी अब ठीक है।

वो उत्साहित है कि सुबह से उसके पास तीन चार कॉल आ चुके हैं इंटरव्यू के लिए। वो शुक्रगुज़ार है उजले बाल वाले सेठ-साहूकार के उस कुत्ते का, जिसने उसे सलाह दी थी कि कुछ ऐसा बोल दो जिससे आग लग जाए। मसलन ये बोल दो कि जिस तरह चार लोग मिलकर रेप नहीं कर सकते हैं, उसी तरह चार लोग मिलकर मर्डर नहीं कर सकते। इतना बोल भर दो। कुछ लोग तुम्हें कुत्ता समाजवाद का मसीहा घोषित करवा देंगे और कुछ लोग हैशटैग के साथ अभियान शुरु कर देंगे कि नेशन वांटस टू नो- वाय देयर आर टू मैनी कुत्ता इन इंडिया? प्लीज़ यूज़ आवर हैशटैग ‪#‎KuttaFightBack एंड ट्वीट। बस तुम ऐसा ही कुछ अंटशंट बोल दो। फिर देखो तुम एकदम वायरल हो जाओगे और कुछ ही घंटों में घर के बाहर ओबी वैन ही वैन। धकाधक सबको इंटरव्यू दो। कोई लिखेगा-इतिहास में पहली बार। कोई कहेगा-सबसे पहले पहली बार। कोई लिखेगा-सुपर-डुपर हिट, बिग, मेगा, ग्रेट एक्सक्लूसिव। शैरी को याद आया कि हर कुत्ते के दिन आते हैं – ये मुहावरा शायद ऐसे ही मौक़ों के लिए बना होगा।

अवस्था : तीन

शीना का कुत्ता शैरी बहुत ख़ुश है।

वो ख़ुश है कि बारह चैनल, 20 अखबार, 30 वेबसाइट्स में उसके एक्सक्लूसिव इंटरव्यू चल रहे हैं। उसने काम वाली, धाम वाली, सुबह वाली, शाम वाली, नाई, धोबी, कसाई सबको मीडिया हाइप के मामले में पीछे छोड़ दिया है। शैरी भी सोचता होगा कि कहाँ दो दिन पहले तक उसकी गिनती ना तीन में थी, ना तेरह में। मेड-पेड को भी राहुल -केजरीवाल से ज़्यादा तवज्जो मिल रही थी और कहाँ अब क्या क्या नहीं कहा जा रहा है – जैसा कि आपने देखा कि कुत्ते शैरी ने अपनी पूँछ नहीं हिलाई, इसका मतलब ये हुआ कि शैरी, मर्डर के पूरे घटनाक्रम के कई राज पूँछ की तरह अपने अंदर दबाए हुए हैं।

ओह हो !! कुत्ते ने मालिक को देखकर दो बार पूँछ हिलाई । इसका मतलब ये हुआ कि शैरी ने क़त्ल की रात के दो अहम सबूत इकट्ठा कर लिए हैं और ये तो आने वाला ही वक़्त बताएगा कि ऊँट किस करवट बैठने वाला है।
और ये क्या ??

जैसा कि आप देख सकते हैं कि शीना का कुत्ता लगातार ज़मीन पर लोट रहा है। ऐसा लगता है कि शैरी कहना चाहता है कि क़त्ल की रात शीना भी ऐसे ही ज़मीन पर तड़प रही होगी।

कोई दूसरा भाई कहेगा – कुत्ते का यूँ लोटना उसकी आर्थिक स्थिति का भी परिचायक है। कोई जब ख़ाली हाथ रह जाता है तो वो ऐसे ही लोटता है। इसलिए ऐसा प्रतीत होता है कि इस घर में क़त्ल से पहले सब ऐसे ही लोटपोट कर रहे थे।

शैरी समझ गया कि सारा खेल पूँछ का ही है और वो भी सीधी नहीं, टेड़ी पूँछ।
उसे पता था कि मूँछ के लिए जान देने वाले भी इस पूँछ के सामने लाचार हैं। जिसने पूँछ दिखा दी, वो बाबा रामदेव और जिसने पूँछ छिपा दी, वो गजेंद्र चौहान। शैरी खुश था कि वो दिन दूर नहीं ,जब वो भी किसी कॉलेज वॉलेज में दुम हिलाता घूमेगा और पूरा समाज उसकी बड़ी इज़्ज़त करेगा।

अवस्था : चार

शीना का कुत्ता शैरी पागल है।

रात हो गई। शैरी अपने मुँह में शीना की तस्वीर लटका कर पूरे घर में घूम रहा है पर कोई भी ना शैरी को देख रहा है और ना शीना को। उसे ध्यान आया कि इतने बड़े से घर में 12-13 साल से यही तो होता आया है। जब काफी देर तक शैरी, शीना की तस्वीर लेकर घूमता रहा तो घर वालों ने कह दिया कि शैरी पागल हो गया है, कल से सारे इंटरव्यू बंद।

शैरी अब शीना की तस्वीर को और चाट रहा है। घर वालों को शैरी के पागलपन पर रत्ती भर भी संदेह नहीं रहा।

वरिष्ठ पत्रकार और फिल्म निर्देशक विनोद कापड़ी के फेसबुक पेज से

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